मैं जानता हूँ
कि मैं पूर्ण ज्ञानी नहीं,
तभी तो मैं मौन हूँ।
मैं जानता हूँ
कि मैं अज्ञानी भी नहीं,
तभी तो मैं मौन हूँ।
मैं जानता हूँ
कि एक दिन
पहचान लूँगा मैं को,
तभी तो मैं मौन हूँ।।
मैं जानता हूँ
कि लोग यूं ही बदलते नहीं,
तभी तो मैं मौन हूँ।
मैं जानता हूँ
कि मैं समर्थ नहीं
कि सबको बदल सकूँ,
तभी तो मैं मौन हूँ।
मैं जानता हूँ
कि एक दिन
सब बदल जाएँगे,
तभी तो मैं मौन हूँ।।